कोरबा पुलिस ने निभाया बेटा का फर्ज, अज्ञात महिला के शव का किया अंतिम संस्कार

कोरबा पुलिस ने निभाया बेटा का फर्ज, अज्ञात महिला के शव का किया अंतिम संस्कार, कर्तव्यनिष्ठता के उदाहरण से विभाग हुआ गौरवान्वित, पढ़े पूरी खबर
कोरबा – पुलिस को लेकर आमजनों में कई तरह के विचार उपजते ही रहते हैं। लेकिन कर्तव्य निर्वाहन के साथ साथ मानवता के प्रति जिम्मेदारी को लेकर संकल्पित कोरबा पुलिस के द्वारा अनेकों उदाहरण प्रस्तुत किए जा चुके हैं। जिसमें उत्तम कर्तव्य आचरण के साथ-साथ मानवता को लेकर कई सफल कार्य के उदाहरण प्रस्तुत किए जा चुके हैं। इसी तरह मानवता से भरा हुआ उदाहरण देखने को सामने आया है। जिसमें कोरबा पुलिस के द्वारा अज्ञात महिला के शव को पूरे विधि विधान के साथ अंतिम संस्कार किया गया।

अंतिम विदाई की बात करे तो हिंदू विधि विधान के अनुसार बेटा सर्वोत्तम होता है। लेकिन इसे विधाता का विधान ही कहें जहां लगभग 65 वर्षी एक अज्ञात महिला का शव हसदेव नदी के तट पर बरामद होता है अज्ञात शव की सूचना मिलते ही अपने कर्तव्य के प्रति जिम्मेदार कोरबा पुलिस को इसकी सूचना मिलती है सूचना मिलने के तत्काल बाद पुलिस के द्वारा अपने कर्तव्य का निर्वहन करते हुए प्राथमिक कार्रवाई करने के उपरांत महिला की पताशाही को लेकर हर संभव प्रयास किया जाता है लेकिन सफलता नहीं मिलने पर वरिष्ठ अधिकारियों के मार्गदर्शन अनुसार महिला के मृत शरीर के अंतिम संस्कार की जिम्मेदारी कोरबा पुलिस को दी जाती है।
कोरबा पुलिस के द्वारा लगातार मानवता को लेकर कई अनुकरणीय उदाहरण प्रस्तुत किए गए हैं लेकिन अज्ञात महिला को शव के अंतिम संस्कार को लेकर कोरबा पुलिस ने अपने परिवार के सदस्य की तरह अज्ञात महिला के पतासाझी के साथ साथ कर्तव्य निर्वहन की जिम्मेदारियां को सुनिश्चित किया वही अज्ञात मृत महिला की शिनाख्त नहीं होने की स्थिति में बेटे का फर्ज निभाते हुए पूरे विधि विधान के साथ मृत महिला का अंतिम संस्कार किया गया।
कर्तव्य आचरण को लेकर कोरबा पुलिस के द्वारा लगातार कई उदाहरण प्रस्तुत किए गए हैं लेकिन किसी अज्ञात महिला के शव की बरामदगी के बाद कोरबा पुलिस के द्वारा पूरे विधि विधान के साथ उसका अंतिम संस्कार किया किया जाना भी समाज मैं बानगी प्रस्तुत करता है। अज्ञात महिला के शव की शिनाख्ती को लेकर हर संभव प्रयास किया गया इसके बाद शिनाख्ती के दौरान मेडिकल स्टाफ के जिम्मेदार अधिकारियों के द्वारा बताया गया डेथ बॉडी की हालत बद से बदतर है मृतका के शरीर के हर एक भाग डीकंपोज हो चुका है जिसके कारण महिला के शरीर से कीड़े निकालने की शुरुआत हो चुकी है और मृतिका के शव से असहनीय बदबू उत्पन्न हो चुकी है ऐसी स्थिति में इसका मेडिकल पंचनामा उपरांत अंतिम संस्कार किया जाना अनिवार्य है।
वरीय अधिकारियों के मार्गदर्शन में कोरबा पुलिस के द्वारा मृतका के मृत शरीर का अंतिम संस्कार किया जाना सुनिश्चित किया गया और अंतिम संस्कार के कार्यक्रम को लेकर कोरबा पुलिस अपने कर्तव्यों के प्रति वचन बद्ध सोच के साथ अग्रसर होते हुए अज्ञात महिला के शव का न सिर्फ अंतिम संस्कार किया गया बल्कि अंतिम कार्यक्रम को लेकर सर्वमंगला पुलिस चौकी से उसकी शव यात्रा निकाली गई शव यात्रा में कोरबा पुलिस के जवानों ने बेटे का फर्ज अदा करते हुए कंधा दिए इस दौरान मृत महिला के शव को नए परिधान के साथ फूल माला पहनाकर भी सजाया गया था।
उल्लेखनीय है महिला के मृत शरीर की हालत बद से बदतर हो चुकी थी इस हालत में महिला के शरीर के लगभग सभी हिस्से में कीड़े बिलबिला रहे थे और शरीर से असहनीय बदबू वातावरण को दूषित कर रहे थे बावजूद कर्तव्य निष्ठा को लेकर कोरबा पुलिस के जवानों के द्वारा महिला के अंतिम संस्कार को लेकर वचनबद्ध दिखे उनके द्वारा अज्ञात महिला के शव का अंतिम संस्कार करने का निर्णय लिया गया और ऐसा नहीं की अंतिम संस्कार सिर्फ एक संस्कार की औपचारिक प्रक्रिया हो आप समझ सकते हैं जिस अज्ञात महिला के शव से कीड़े बिलबिला रहे हो साथ ही असहनी बदबू भी वातावरण को दूषित करती हो लेकिन कर्तव्य आचरण को लेकर कोरबा पुलिस के द्वारा महिला को अपने परिवार का सदस्य मानते हुए हर एक परिस्थिति में स्थितियों को समझते हुए मानवता का उत्तम उदाहरण प्रस्तुत करते हुए महिला के मृत शरीर के साथ अंतिम संस्कार को संकल्पित दिखे।
अंतिम संस्कार की प्रक्रिया को लेकर कोरबा पुलिस का जो आचरण रहा वह मानवता के साथ-साथ एक पुत्र के कर्तव्य निर्वहन से कम नहीं था जो मृतका के अंतिम कार्यक्रम को पूरे विधि विधान के साथ अंजाम देते हुए अपने कर्तव्य के प्रति श्रेष्ठ बानगी प्रस्तुत किए।
सी एन आई न्यूज कोरबा छत्तीसगढ़ से सुनील दास महंत की रिपोर्ट।